More
    HomeBusinessबांग्लादेश की अक्ल आई ठिकाने, अदाणी को 3282 करोड़ रुपये का किया...

    बांग्लादेश की अक्ल आई ठिकाने, अदाणी को 3282 करोड़ रुपये का किया भुगतान, जानिए विस्तार से

    अदाणी पावर के पूर्ण-स्वामित्व वाली अनुषंगी अदाणी पावर झारखंड लिमिटेड ने नवंबर, 2024 में 84.6 करोड़ डॉलर का बिल बकाया होने की वजह से बांग्लादेश को अपनी बिजली आपूर्ति घटाकर आधा कर दी थी।बांग्लादेश की अक्ल आई ठिकाने आ गई है। उसने अदाणी ग्रुप को भुगतान करना शुरू कर दिया है। बांग्लादेश ने जून में अदाणी पावर को 38.4 करोड़ डॉलर (32,82.64 करोड़ रुपये) का भुगतान किया, जिससे भारतीय कंपनी के साथ बिजली आपूर्ति समझौते के तहत उसके बकाये में उल्लेखनीय कमी आई है। सूत्रों ने यह जानकरी दी। मामले से अवगत दो सूत्रों ने बताया कि बांग्लादेश को जून में 43.7 करोड़ डॉलर का भुगतान करना था, जिसमें से उनसे 27 जून तक 38.4 करोड़ डॉलर का भुगतान किया है। इससे 31 मार्च तक बांग्लादेश के स्वीकृत दावों का भुगतान हो जाएगा। उन्होंने कहा कि इस भुगतान के बाद अदाणी का दावा घटकर लगभग 50 करोड़ डॉलर रह जाएगा, हालांकि यह अभी भी काफी अधिक है।
    आर्थिक संकट में फंसा हुआ बांग्लादेश
    बांग्लादेश 2017 के समझौते के तहत अपने भुगतान दायित्वों को पूरा करने के लिए जूझ रहा है, क्योंकि 2022 में रूस-यूक्रेन संघर्ष और घरेलू राजनीतिक उथल-पुथल के बाद उसकी आयात लागत बढ़ी है। अदाणी ने पिछले साल आपूर्ति आधी कर दी थी और मार्च 2025 में बांग्लादेश के कुछ बकाया राशि का भुगतान करने के बाद पूरी आपूर्ति फिर से शुरू की गई थी। ताजा भुगतानों के साथ, बांग्लादेश ने लगभग दो अरब डॉलर की कुल बकाया राशि में लगभग 1.5 अरब डॉलर का भुगतान कर दिया है।

    आधी बिजली आपूर्ति रोकी थी
    अदाणी पावर के पूर्ण-स्वामित्व वाली अनुषंगी अदाणी पावर झारखंड लिमिटेड (एपीजेएल) ने नवंबर, 2024 में 84.6 करोड़ डॉलर का बिल बकाया होने की वजह से बांग्लादेश को अपनी बिजली आपूर्ति घटाकर आधा कर दी थी। इससे पहले अदाणी कंपनी ने बांग्लादेश के ऊर्जा सचिव को एक पत्र लिखकर अनुरोध किया था कि बांग्लादेश बिजली विकास बोर्ड (पीडीबी) से 30 अक्टूबर तक बकाया राशि का भुगतान करने को कहा जाए। अदाणी समूह की कंपनी ने 27 अक्टूबर को लिखे पत्र में कहा था कि यदि बकाया बिलों का भुगतान नहीं होता है तो वह 31 अक्टूबर को बिजली आपूर्ति निलंबित करके बिजली खरीद समझौते (पीपीए) के तहत उपतचारात्मक कदम उठाने के लिए बाध्य होगी।

    LEAVE A REPLY

    Please enter your comment!
    Please enter your name here

    Must Read

    spot_imgspot_imgspot_imgspot_img